मास्क बनाने के लिए कार्यशाला का किया गया आयोजन
मास्क बनाने के लिए कार्यशाला का किया गया आयोजन
बेटियों को मास्क बनाने लिए किया गया प्रशिक्षित
वाराणसी। काशी हिंदू विश्वविद्यालय स्थित समन्वित ग्रामीण विकास केंद्र के सिलाई प्रशिक्षण में मास्क बनाने के विषय पर कार्यशाला का आयोजन किया गया। कोरोना महामारी के बाद से कोरोना से बचाव हेतु मास्क पहनना एक उपाय है। जब हम बाजार में मास्क खरीदने जाते हैं तो ₹10 से लेकर ₹50 तक की कीमत पर बाजार में मास्क बिक रहा है। समन्वित ग्रामीण विकास केंद्र ने सिलाई प्रशिक्षण प्राप्त कर रही बहनों को घर में ही मास्क तैयार करने के लिए आज एक कार्यशाला का आयोजन किया।
कार्यशाला में संकाय प्रमुख प्रोफेसर कौशल किशोर मिश्रा ने अपने उद्बोधन में कहा की बहने मास्क बना कर आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बने। मास्क का भारत में बहुत बड़ा बाजार है। गांव की महिलाएं आत्मनिर्भर बने स्वावलंबी बने स्वदेशी बने इस भाव के तहत यह कार्यशाला आयोजित की गईं। इस प्रोग्राम में गांव के दर्जनों महिलाओं को प्रशिक्षण आरती विश्वकर्मा ने दिया। डॉक्टर आलोक कुमार पाण्डेय, असिस्टेंट प्रोफेसर समन्वित ग्रामीण विकास केंद्र के द्वारा कार्यशाला का आयोजन किया। धन्यवाद ज्ञापन परियोजना अधिकारी डॉक्टर भूपेंद्र प्रताप सिंह के द्वारा दिया गया। कार्यक्रम में मुख्य रूप से डॉ. सुमन सिंह, अनिल कुमार भूषण, रामजी, रामलखन, इत्यादि सम्मिलित थे।