पैतरेबाजी के बावजूद भी जालसाज कॉलनाइजर दंपत्ति ना बचा पाये खुद को,
पैतरेबाजी के बावजूद भी जालसाज कॉलनाइजर ना बचा पाया पत्नी और अपने आप को,
निवेश के नाम पर करोड़ों का गबन करने वाले जालसाज दंपत्ति को पुलिस ने किया गिरफ्तार,
पुलिस कमिश्नर वाराणसी ए सतीश गणेश ने कहा निवेशकों को जांच परख कर धन का निवेश करना चाहिए,
लुभावने व आकर्षक प्रस्ताव देकर जमीन, व सोने में निवेश और देश विदेश घूमने के पैकेज के नाम पर भोले भाले लोगों को ठगने वाली नीलगिरी इंफ्रासिटी के निदेशक विकास सिंह और उनकी पत्नी एमडी ऋतु सिंह व मैनेजर प्रदीप यादव को पुलिस ने गिरफ्तार किया,
अन्य आरोपियों को गिरफ्तार करने के लिए पुलिस ने बनाई टीम,
जालसाज दंपत्ति ने अपने को बचाने के लिए तरह-तरह की पैतरेबाजी की थी न्यायालय के जरिए पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर पर पचास लाख रुपए दबंगई से मांगने का आरोप भी लगाया था, जिस खबर से वाराणसी पुलिस महकमे में सनसनी फैल गई थी, लेकिन जालसाज़ो के गिरफ्त में आए निवेशकों द्वारा लगातार न्यायालय व थानों में अपनी शिकायत दर्ज कराया जाता रहा जिसके परिणाम स्वरूप सोमवार को वाराणसी कमिश्नरेट पुलिस ने मलदहिया क्षेत्र की इंडियन प्रेस कॉलोनी नीलगिरी इंफ्रॉसिटी के मालिकों पर सोमवार को एक साथ धोखाधड़ी के 15 एफआईआर दर्ज किए गए प्रकरण में 5 नामजद आरोपियों जिनमे अफसा, संजय प्रजापति, अमित जायसवाल, पीयूष बरनवाल और अर्चना एकाउंटेंट के अलावा कंपनी से जुड़े अन्य लोगों की तलाश पुलिस तेजी से कर रही है, कंपनी और इसके कार्यकर्ताओं के खिलाफ वाराणसी और चंदौली के अलग-अलग थानों में धोखाधड़ी के आरोप में दो दर्जन से ज्यादा मुकदमे दर्ज हैं,
निवेश के नाम पर वाराणसी जिले से सटे क्षेत्रों के लोगों को जालसाज दंपत्ति ने फसाया था,
विकास सिंह और ऋतु सिंह पर आरोप है कि नीलिगरी इंफ्रॉसिटी कंपनी वाराणसी और चंदौली में मार्केट रेट से काफी कम कीमत में प्लॉट देने का दावा करती थी, इसके अलावा सोने में निवेश कराकर अच्छे मुनाफे और देश के पर्यटन स्थलों के लिए टूर पैकेज का भी प्रलोभन यह कंपनी देती थी देती थी, कॉल नाइजर दंपत्ति की गिरफ्तारी से इनके और भी काले कारनामों के खुलने की आशंका जताई जा रही है,
ऑफिस में उपस्थित सभी कर्मचारियों को सधे तरीके से निवेशकों को जवाब देने के लिए जालसाजो की तरफ से बोला गया था कि कोई भी नीलगिरी इंफ्रासिटी के मालिकों से बात नहीं कराएगा,
नीलगिरी इंफ्रासिटी के ऊपर लगातार मुकदमें दर्ज होने पर पुलिस मलदहिया स्थित ऑफिस पर दबिश देना शुरू की थी,
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